
पूरे सत्र पैदल स्कूल पहुंची बेटियां, चुनाव आए तो ‘दौड़ी साइकिल’
चित्तौड़गढ़. बालिका शिक्षा को बढ़ावा देने के उद्देश्य से कक्षा नौ में पढ़ने वाली छात्राओं को साइकिल वितरण की योजना चलाई गई। सत्र 2022-23 में जिले की करीब नौ हजार छात्राओं को साइकिल नहीं मिलने से उन्हें पूरे सत्र पैदल ही स्कूल पढ़ने जाना पड़ा। पूरे सत्र में जिम्मेदारों ने बालिकाओं की साइकिल की किसी को भी याद नहीं आई। इस साल चुनाव को देखते हुए विभाग ने सत्र 2022-23 व 2023-24 की सूचना सभी जिला शिक्षा अधिकारियों से दो दिन में मांगी है। माध्यमिक शिक्षा विभाग बीकानेर के वित्तीय सलाहकार ने डीईओ को आदेश जारी कर दो दिन में कक्षा नौ में नवीन प्रवेश लेने वाली छात्राओं की सूचना मांगी है। बता दें, राजस्थान पत्रिका ने इस मामले को लेकर ‘मुख्यमंत्री जी! छह माह से साइकिल की बाट जोह रही बेटियां’ और ‘मुख्यमंत्री जी! पूरा सत्र बीत गया पर नहीं मिली बेटियों को राहत’ शीषर्क से प्रमुखता से समाचार प्रकाशित किए थे।
इन्हें भी मिलनी थी पहली बार साइकिल
जानकारी के अनुसार गत सत्र में सरकारी विद्यालयों में कक्षा छह से आठ तक पढ़ने वाली छात्राओं को भी निशुल्क साइकिलें मिलनी थीं। यह पहला अवसर था जब प्रदेश में आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग ईडब्ल्यूएस की छात्राओं को भी साइकिल मिलनी थी लेकिन, पूरे सत्र में इंतजार के बावजूद साइकिल नहीं मिली। इस बार केवल कक्षा में नौ में प्रवेश लेने वाली छात्राओं की सूचना ही मांगी है।
सूचना मांगी है
विभाग ने गत सत्र 2022-23 और इस सत्र 2023-24 में कक्षा नौ में नवीन प्रवेश लेने वाली छात्राओं की सूचना मांगी है। सीबीईओ से सूचना मांगी है। आर्थिक रुप से कमजोर वर्ग ईडब्ल्यूएस की छात्राओं को लेकर अभी निर्देश नहीं मिले हैं।-कल्पना शर्मा, डीईओ माध्यमिक मुख्यालय चित्तौड़गढ़
सत्र 2007-08 में शुरू हुई थी योजना
निशुल्क साइकिल वितरण योजना की शुरुआत वर्ष 2007-08 में हुई थी। योजना का मुख्य उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों की उप्रावि उत्तीर्ण होने बाद माध्यमिक विद्यालय की आवास से दूरी अधिक होने से बेटियां शिक्षा वंचित रह जाती थी, उन्हें सुगम आवागमन के लिए साइकिल उपलब्ध करारकर शिक्षा से जोड़े रखना था।
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